बड़ी उम्र में शादी होने से क्या अरमान ख़त्म हो जाते है ? क्या शादी का मतलब सिर्फ़ शारीरिक और आर्थिक ज़रूरतों की पूर्ति मात्र होता है ? क्या बड़ी उमर में शादी होने से भावनात्मक जुड़ाव की ज़रूरतें नहीं रह जाती है ? अंजू इन ही सवालों से जूझ रही थी । उमर बढ़ती जा रही थी तो भइया ने दो बच्चों के विधुर पिता से शादी करा के अपनी ज़िम्मेदारी पूरी कर ली। आर्थिक रूप से पूरी तरह आत्मनिर्भर होने के बावजूद समझौते तो उसने भी किए ही थे पर फिर ऐसा क्या हुआ की अंजू को निर्णय लेना ही पड़ा। वो बातें क्या थी जिन्होंने अंजू के स्वाभिमान को झकझोरा था .. सुनिए मालती जोशी कहानी “ बहुरि अकेला”
बड़ी उम्र में शादी होने से क्या अरमान ख़त्म हो जाते है ? क्या शादी का मतलब सिर्फ़ शारीरिक और आर्थिक ज़रूरतों की पूर्ति मात्र होता है ? क्या बड़ी उमर में शादी होने से भावनात्मक जुड़ाव की ज़रूरतें नहीं रह जाती है ? अंजू इन ही सवालों से जूझ रही थी । उमर बढ़ती जा रही थी तो भइया ने दो बच्चों के विधुर पिता से शादी करा के अपनी ज़िम्मेदारी पूरी कर ली। आर्थिक रूप से पूरी तरह आत्मनिर्भर होने के बावजूद समझौते तो उसने भी किए ही थे पर फिर ऐसा क्या हुआ की अंजू को निर्णय लेना ही पड़ा। वो बातें क्या थी जिन्होंने अंजू के स्वाभिमान को झकझोरा था .. सुनिए मल्टी जोशी को कहानी “ बहुरि अकेला”
कभी-कभी हमारा अतीत हमारे वर्तमान में दखलअंदाजी करने लगता है। हम अतीत और वर्तमान के बीच उलझ कर रह जाते हैं। ऐसे में अगर हमें कोई सही रास्ता दिखाए तो हमारा अतीत हमारे वर्तमान पर प्रभाव नहीं डाल पाता । हम अपने वर्तमान में लौट आते हैं। वर्तमान में जीने लगते हैं।
अनकहा सच – Malti Joshi (मालती जोशी) – Arti Srivastava
अपना घर अपना ही होता है फिर चाहे उसमें कितनी कमियाँ क्यों ना हो । लेकिन घर बनता है परिवार से और परिवार की मुख्य स्तंभ होती है माँ । माँ जिसकी हर खुशी हम से जुड़ी होती है और जब हम माँ से दूर जाते हैं तो वह पल – पल हमारे लौट आने की राह देखती है। हमारे सुखी जीवन के लिए ईश्वर से प्रार्थना करती है। लेकिन कभी-कभी हमें समझने में बहुत देर हो जाती है।
यह मनी ऑर्डर तेरे दादा दादी के लिए संजीवनी है उनका मानसिक संबल है यह बात उन्हें एहसास लाती है कि उनका बड़ा बेटा उन्हें भूला नहीं और अपने कर्तव्य से विमुख नहीं हुआ | मात्र ₹1000 के मनीआर्डर आने पर जो कि उनके बड़े बेटे के द्वारा भेजा जाता है दादा दादी गदगद हो जाते हैं जबकि छोटा बेटा और परिवार अपने मां-बाप की सेवा पूरे दिल से करता है ऐसे में उनकी पोती के मन में कई प्रकार के संशय पैदा होते हैं | दिल को छू लेने वाली कहानी
हर सास को अपनी बहू हमेशा अनुभवहीन, गवाँर और बेअकल ही नजर आती है। उसे तो जैसे कुछ आता- जाता ही नहीं है। लेकिन अपने पोता – पोती पर तो जान छिड़कती है। कहते हैं ना असल से सूद ज्यादा प्यारा होता है । फिर भी दादी को डर सताता रहता है । किस बात का ?
अनिकेत – Malti Joshi (मालती जोशी) – Arti Srivastava
माँ की मृत्यु के बाद वीरेश और विशाखा ने जिया में ही अपनी माँ को देखा । लेकिन नई बहू उसे सास के रूप में स्वीकार नहीं कर सकी । वह जिया को साथ रखना नहीं चाहती थी । पिता की मृत्यु के बाद वीरेश को जिया की चिंता सताने लगी क्योंकि वह सच्चाई से अनभिज्ञ नहीं था । ऐसी क्या सच्चाई थी जिसकी वजह से वीरेश को जिया की इतनी चिंता थी ? वह जिया के लिए इतना बेचैन क्यों था?
गैंडा- मोटी चमड़ी का , थोड़ा कुरूप सा दिखने वाला प्राणी। राज मेहरा, सुपर्णा की बचपन की सहेली थी और स्कूल कॉलेज की हर प्रतियोगिता में पूरे समय बराबर रहकर अन्त में बाज़ी मार ले जाती थी । जब काफ़ी समय बाद दोनो सहेलियाँ मिली तो अपने सुदर्शन फौजी पति के सामने राज के मोटे काले पति को देखकर सुपर्णा को ना जाने क्यों बहुत सन्तोष हुआ था। पर जब रूपसी वाचाल राज , सुपर्णा के घर रहने आयी और सहेली के पति को ही पुरस्कार की तरह जीत लिया, तब सुपर्णा ये विश्वासघात सहन ना कर पायीं. फिर सुपर्णा ने उस आघात को कैसे झेला? क्या एक पत्नी , सहेली के सामने एक बार फिर हार गयी या उसने एक ऐसा कदम उठाया जिसके बारे में राज ने कल्पना भी ना करी थी . जानिए शिवानी की इस कहानी “गैंडा “ में … ((सुनिए शिवानी जी की लेखनी का जादू इस कहानी गैंडा में , जहाँ एक सहेली और पत्नी के मनोभवों को बड़ी सुंदरता और सजीवता से प्रस्तुत किया गया है )
Celebrating 88th Bithday of melody queen Asha Bhosle With Pooja
70 वर्षीय विधुर रिटायर लेफ्टिनेंट केशव शर्मा की मित्रता अपने ही जैसे मिस्टर कण्णन के साथ हो जाती है| वे वे एक दूसरे के साथ गोल्फ खेलते ,बातें करते और अच्छा समय बिताते | वे एक-दूसरे के बेहद अंतरंग मित्र बन जाते हैं |केशव पूरे सप्ताह मिस्टर कण्णन से नहीं मिल और उनके बारे में कोई समाचार नहीं प्राप्त कर पाते तो वह बेहद व्यग्र हो जाते हैं |क्या हुआ था मिस्टर कण्णन को ?क्या यह मित्रता और प्रगाढ़ हो पाएगी? जानते हैं मनीषा को श्रेष्ठ द्वारा लिखी गई कहानी अंतरंग , पूजा श्रीवास्तव की आवाज में
पत्नियो पर तो आप सबने बहुत चुटकुले और व्यंग सुने होंग़े। सुनिए पतियों पर लिखा गया ये कुछ मीठा और कुछ तीखा व्यँग सूर्यबाला जी की कहानी “गर्व से कहो हम पती हैं”
Female Protrayal in Bollywood with Anandita Bhasin
बेहद भावुक कर देने वाली मनु भंडारी जी के द्वारा लिखी गई कहानी जिसमें समाज बीमार व्यक्ति की चिंता करता है किंतु उस व्यक्ति का कोई ख्याल नहीं रखता जो उसकी दिन-रात सेवा करता है कहानी में अम्मा जो अपने खाने-पीने और सोने का ध्यान ना रखते हुए अपने अपने कैंसर से पीड़ित बीमार पति की दिन-रात सेवा करती है उनके पति की मृत्यु हो जाती है तब भी क्या किसी का ध्यान अम्मा के ऊपर जाता है जानते हैं आरती श्रीवास्तव की आवाज में कहानी मुक्ति
72 वर्ष के एक वृद्ध की कहानी है जो 20 साल तक अपनी एक जमीन के लिए अदालतों का चक्कर काटता रहता है अब इस उम्र में उसे जमीन मिल भी जाती है किंतु अभी जमीन का कब्जा बाकी होता है वह बेहद कशमकश की स्थिति में है कि अब क्या करें क्या वह वयोवृद्ध जमीन का सुख उठा पाता है क्या होता है उसके साथ पूरी कहानी जानने के लिए सुनते हैं भीष्म साहनी द्वारा लिखी गई कहानी मरने से पहले सुमन वैद्य जी की आवाज में
वकील बाबू की सबसे छोटी बेटी नेहा बेहद खूबसूरत है और संगीत में विशेष रूचि रखती है उसी बिल्डिंग में निश्चल एक बच्चे को संगीत सिखाने आता है दोनों की रुचियां मिलने के कारण उन दोनों में प्रेम हो जाता है वे दोनों विवाह करना चाहते हैं नेहा के पिता को यह रिश्ता स्वीकार नहीं होता नेहा और निश्चल आखिर क्या निर्णय लेते हैं उनके प्रेम का क्या नतीजा निकलता है पूरी कहानी जानने के लिए के लिए सुनते हैं संचिता सक्सेना द्वारा लिखी गई कहानी मासूम की प्रेम कहानी अमित तिवारी जी की आवाज में
मां बाप के लिए अपने बच्चे ना कोई बोझ होते हैं ना कोई अवसाद होते हैं वह अपने बच्चों को पूरे स्नेह के साथ उनका लालन-पालन करते हैं क्या कभी बच्चे भी अपने मां-बाप कीउसी प्रकार उनकी देखभाल कर पाते हैं इसी भावना से ओतप्रोत है मालती जोशी जी की लिखी कहानी वो तेरा घर यह मेरा घर ,सुनते हैं पूजा श्रीवास्तव की आवाज में
“तुम फौजी बड़े बेवफा होते हो शादी करोगे ,फिर कल फर्ज के नाम पर शहीद कहलाओगे | तुम्हारे पीछे मैं विधवा ……” कहानी में आकाश एक नेवी कमांडर है और एक भूमि नाम की लड़की से बहुत प्यार करता है | भूमि भी उससे बेतहाशा प्यार करती है |किंतु जब आकाश ,भूमि के सामने शादी का प्रस्ताव रखता है तो उसे वह अस्वीकार कर देती है | पूरी कहानी जाने के लिए सुनते हैं ऋषभ आदर्श के द्वारा लिखी गई कहानी “विधवा “,अमित तिवारी जी की आवाज में….
Reviews for: Bahuri akela ( बहुरि अकेला )