23 अक्टूबर को अंतर्राष्ट्रीय हिम तेंदुआ दिवस के रूप में मनाया जाता है। 23 अक्टूबर 2013 को, किर्गिस्तान के बिश्केक में हिम तेंदुए के संरक्षण के लिए एक घोषणा को अपनाया गया था। सभी 12 हिम तेंदुओं की रेंज के देशों ने इस संकल्प को अपनाया।
10 नवंबर 1908 को कनाई लाल दत्त को मात्र 20 बरस की आयु में फांसी हुई। खुदीराम बोस के बाद फांसी के फंदे पर झूलने वाले वह दूसरे क्रांतिकारी थी।
साल 1996 में 20 अक्टूबर को पहली बार विश्व ऑस्टियोपोरोसिस दिवस (World Osteoporosis Day) मनाया गया था। जिसकी शुरुआत यूनाइटेड किंगडम के नेशनल ऑस्टियोपोरोसिस सोसाइटी ने यूरोपीय आयोग के साथ मिलकर एक अभियान के साथ की थी।
देश के पहले गैर राजनीतिज्ञ राष्ट्रपति ए.पी.जे अब्दुल कलाम, जिनको उनके विज्ञान और तकनीकी के क्षेत्र में उत्कृष्ट योगदान के लिए हमेशा याद किया जाता रहेगा। भारत के मिसाइल मैन के नाम से जाने जाने वाले अब्दुल कलाम जी ने मिसाइल प्रणाली को उड़ान दी। ‘पद्म भूषण’ और ‘पद्म विभूषण’ से सम्मानित होने वाले वह एक पहले ऐसे राष्ट्रपति बने जिन्हें राष्ट्रपति बनने से पूर्व ही ‘भारत रत्न’ से सम्मानित किया गया गया।
9 अक्टूबर 1949 आधुनिक प्रादेशिक सेना का गठन किया गया। प्रादेशिक सेना अधिनियम 1948 में पारित होने के बाद इसका गठन किया गया। पहले गवर्नर जनरल सी. राजगोपालाचारी ने इसका उद्घाटन किया ।1962 ,1965 और 1971 के सैन्य अभियानों में इसकी सक्रिय रूप से इसे शामिल किया गया। रक्षा से जुड़ी कई ज़िम्मेदारियां निभाने में प्रादेशिक सेवा का अहम भूमिका रही है ।आतंक विरोधी अभियान में सेना की मदद ली जाती रही है। कपिल देव और महेंद्र सिंह धोनी भी प्रादेशिक सेना का हिस्सा हैं।
10 अक्तूबर के दिन वर्ष 1970 में 96 वर्ष के ब्रिटिश औपनिवेशिक शासन के बाद फिजी को आधिकारिक रूप से स्वतंत्रता प्रदान की गई थी। फिजी दक्षिण प्रशांत महासागर में एक देश और द्वीप समूह है। यह न्यूज़ीलैंड के आकलैंड से करीब 2000 किमी |
आज ही के दिन 24 अक्टूबर 1946 को व्हाइट सैंड्स मिसाइल रेंज (White Sands Missile Range) से सैनिकों और वैज्ञानिकों ने एक वी-2 मिसाइल (V-2 missile) लॉन्च की, जिसमें 35-मिलीमीटर मोशन पिक्चर कैमरा था. इसके जरिए अंतरिक्ष से पृथ्वी की पहली तस्वीर ली गई. इन तस्वीरों को बाहरी अंतरिक्ष (Outer Space) की शुरुआत से ठीक ऊपर 65 मील की ऊंचाई पर लिया गया था. इन तस्वीरों को जिस कैमरे में लिया गया था, वो लैंडिंग के दौरान क्रैश से इसलिए बच गया, क्योंकि इसे स्टील कैसेट में बंद किया गया था. ये पहली बार नहीं था, जब पृथ्वी की कर्व को तस्वीर में देखा गया था.
कविता के अंश में सिंदूरी शाम की सुंदरता का वर्णन किया गया है
‘सत्य की जीत’ खण्डकाव्य में विकर्ण को एक विवेकशील व्यक्ति के रूप में चित्रित किया गया है। कौरवों की विशाल सभा के मध्य जब दुःशासन शस्त्रबल की महत्ता और शास्त्रबल को निर्बलों का शस्त्र कहकर शास्त्रों के प्रति अपनी अश्रद्धा तथा अनास्था प्रकट करता है तो विकर्ण इस अनीति को सहन नहीं कर पाता है।इसी संदर्भ में यह पंक्तियां लिखी गई है
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