एशिया का एक देश इराक़ 3 अक्टूबर 1932 को ब्रिटेन की गुलामी से स्वतंत्र हुआ। इराक़ की राजधानी बगदाद है। इराक़ की 6 पड़ोसी देश ईरान ,कुवैत जॉर्डन ,सऊदी अरब ,सीरिया और तुर्की है ।आधिकारिक भाषाएं अरबी और कुर्दिश है। 2006 में सद्दाम हुसैन के तानाशाही और मानवता के खिलाफ़ अपराध के लिए उन्हें फ़ासी की सज़ा दी गई।
1 नवंबर 1966 में हरियाणा का गणन किया गया था. तब से लेकर आज तक हरियाणा में कई बदलाव हुए हैं. आज हरियाणा भारत का ऐसा राज्य बन गया है जहां के लोग कई क्षेत्रों में भारत और अपने राज्य का नाम रोशन कर रहे हैं
महेंद्र लाल सरकार भारत के चिकित्सक, समाज सुधारक और वैज्ञानिक के रूप में प्रसिद्ध हुए ।इनके द्वारा ‘इंडियन एसोसिएशन फॉर द कल्टीवेशन ऑफ़ साइंस’ की स्थापना की गई।
राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का जन्म भारतीय इतिहास में सदा अविस्मरणीय रहेगा । गांधी जी के अहिंसक आंदोलन ने भारत को आज़ादी दिलाने में अपनी अभूतपुर भूमिका निभाई। अहिंसा के पुजारी के रूप में पूरी दुनिया ने उन्हें अपना गुरु माना। राजनीतिक और आध्यात्मिक नेता के रूप में वह सदैव याद किए जाएंगे।उनके द्वारा किए गए प्रमुख आंदोलन सत्याग्रह, असहयोग आंदोलन, चंपारन , भारत छोड़ो आंदोलन हैं। दांडी मार्च भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन का एक महत्वपूर्ण पडाव रहा ।इस दिन को अंतरराष्ट्रीय अहिंसा दिवस के रूप में मनाया जाता है।
चीनी सेना ने 20 अक्टूबर 1962 को लद्दाख में और मैकमोहन रेखा के पार एक साथ हमले शुरू किये। चीनी सेना दोनों मोर्चे में भारतीय बलों पर उन्नत साबित हुई और पश्चिमी क्षेत्र में चुशूल में रेजांग-ला एवं पूर्व में तवांग पर अवैध कब्ज़ा कर लिया।
“3 अक्टूबर 1672 को राणा अमर सिंह द्वितीय का जन्म हुआ ।वे मेवाड़ साम्राज्य के राजपूताना शासक बने ।मातृभूमि की समृद्धि के लिए राजपूतों को एकजुट करने में उनकी अहम भूमिका रही। इतिहास में उनकी वीरता ,शौर्य, त्याग ,पराक्रम अमर रहेगा
1576 में महाराणा प्रताप की नेतृत्व में ऐतिहासिक हल्दीघाटी युद्ध में बहलोल खान को उनके घोड़े सहित दो टुकड़ों में छिन्न-भिन्न कर दिया था। “
Credit: Josh Talk
रणभूमि का शव tu बन जा, पर रंगमंच की प्रीत ना बन” वास्तविकता में जीवन इसी भांति जीना चाहिए | कविता के शब्दों मे रूप से स्पष्ट रूप से प्रकट किया गया है |अनुपम ध्यानी की आवाज में कविता” Ban, na Ban “…
सरदार पटेल का जन्म 31 अक्टूबर, 1875 को गुजरात के नाडियाड में हुआ। पिता का नाम झावेर भाई और माता का नाम लाडबा पटेल था। माता-पिता की चौथी संतान वल्लभ भाई कुशाग्र बुद्धि के थे। उनकी रुचि भी पढ़ाई में ही ज्यादा रही।आज एकता के सूत्र में बंधे भारत के लिए देश सरदार पटेल का ही ऋणी है। कहा जाता है कि एक बार उनसे किसी अंग्रेज ने इस बारे में पूछा तो सरदार पटेल ने कहा- मेरा भारत बिखरने के लिए नहीं बना।सरदार पटेल’,’लोह पुरुष’ और ‘भारत का बिस्मार्क’ की उपाधियों से इन्हें सम्मानित किया गया 1991 में ‘भारत रत्न’ से भी इन्हें सम्मानित किया गया इनका जन्म दिवस ‘राष्ट्रीय एकता दिवस’ के रूप में मनाया जाता है
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